सनातन धर्म संस्कृति की बात की जाये तो इसमें दीपावली सबसे प्रमुख त्योहार है | दीपावली के दिन भगवान गणेश जी और माता लक्ष्मी की पूजा घर में की जाती है | यह त्यौहार हिन्दू मास के कार्तिक महीने की अमावस्या को बड़ी – धूम -धाम के साथ मनाया जाता है | पूजन क्रिया में दीपावली पूजन सामग्री का बहुत महत्व है|
दीपावली भगवान श्री राम के आयोध्या के सकुशल घर वापिस लौटने से जुड़ा हुआ त्योहार है | इस दिन भगवान राम की स्तुति घरो, मंदिरो, आदि में की जाती है | तथा मिठाई, दुग्ध का भोग भगवान को अर्पित किया जाता है|
इसमें दीपावली पूजन सामग्री का प्रयोग पंडित जी के निर्देशानुसार किया जाये, व हवन सामग्री पूर्ण शुद्ध व पवित्र हो इस बात का भी विशेष ध्यान यजमान द्वारा रखा जाता है|
अगर आप चाहते है की लक्ष्मी जी के साथ – साथ भगवान कुबेर का आशीर्वाद आपके घर में बना रहे तो इसके लिए आपको इस धार्मिक – अनुष्ठान को पुरे रीती- रिवाज के साथ करना चाहिए| इसका लाभ यह होता है की पूजन से आपके घर में आर्थिक मंदी का जो प्रभाव पड़ रहा है वो कम हो जायेगा और आपको शीघ्र धन की प्राप्ति सम्भव है|
चलो, हम बिना देरी के अपने भक्तों को दीपावली पूजन सामग्री के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी देते है, जो आपके पूजन संपन्न कराने में काम में आएगी|
दीपावली पूजन सामग्री की सूची
निम्नलिखित तालिका में दीपावली पूजन सामग्री की वस्तुओं के नाम एवं मात्रा दी गई है जो आपको पूजन करने पर चाहिए होती है| यह सूची इस प्रकार से है :-
वस्तु | मात्रा |
रोली | 1 पैकेट |
कलावा (मौली) | 2 नग |
सिंदूर | 1 पैकेट |
लोंग | 1 पैकेट |
प्रतीक | 1 पैकेट |
सुपारी | 4 नग |
जनेऊ | 4 नग |
एक | 1 शीशी |
इत्र | 1 शीशी |
गंगाजल | 1 शीशी |
पानी वाला नारियल | 1 नग |
पीला कपडा | 2 मिनट |
धूपबत्ती | 1 पैकेट |
रूईबत्ती लम्बी वाली | 1 पैकेट |
रूईबत्ती गोल बत्ती | 1 पैकेट |
चोट | 500 मिनट |
सरसो का तेल | 500 मिनट |
दियाली | 1 नग |
सकोरा | 10 नग |
कमल बीज | 11 नग |
पंचमेवा | 200 मिनट |
धान की खील | 200 मिनट |
धान का चुरा | 200 मिनट |
खील खिलोने | 200 मिनट |
लक्ष्मी गणेश प्रतिमा | – |
लक्ष्मी यंत्र | 1 नग |
भगवान् के वस्त्र एवं आसान | – |
पंचामृत की व्यवस्था पहले से निर्माण करे | – |
माचिस | 1 नग |
कूपर | 1 पैकेट |
फल (अनार सरीफा विशेष एवं अन्य फल) | – |
मिष्टान | आवश्यकतानुसार |
फूलों की माला | – |
फूल खुले | 20 चिकन |
पान पते | 5 नग |
कमलो | आवश्यकतानुसार जो वर्षभर प्रयोग कर सके |
नवीं (कॉपी एवं किताब आवश्यकतानुसार) | – |
कुबेर की पोटली हेतु निर्माण सामग्री
वस्तु | मात्रा |
माचिस | 1 पैकेट |
गोमती चक्र | 5 नग |
कोढ़ी | 11 नग |
खड़ी धनिया | 50 मिनट |
सुपाड़ी | 11 नग |
कमलबीज | 11 नग |
सांझ का | 11 नग |
चाँदी अथवा सवर्ण सिक्का | 3 नग |
पोटली | 1 नग |
दी गयी सामग्री का उपयोग यदि वैदिक पंडित के परामर्श अनुसार किया जाये तो आपको दीपावली पूजन से होने वाली लाभ से कोई वंचित नहीं कर सकता|
दीपावली पूजन सामग्री के बारे में आप हमारे पंडित के माध्यम से और अधिक जानकारी ले सकते हो, तथा अपने सुझाव भी 99पंडित के साथ साझा कर सकते हो|
दीपावली पूजन का मुहूर्त २०२४ में
इस वर्ष यानि २०२४ में दीपावली पूजन अमावस्या तिथि 31 अक्टूबर को दोपहर 03 :52 मिनट से शुरू होकर अगले दिन यानि 01 नवम्बर को शाम के 06:16 तक रहेगी |
चूँकि प्रदोष काल पूजन हेतु शुभ माना जाता है यह इस साल 2024 में 01 नवम्बर को रहेगा और इस दिन दीपावली पूजन करना शुभ रहेगा| प्रदोष काल वर्ष 2024 में 01 नवम्बर को ही शाम के समय समाप्त हो जायेगा| मुहूर्त के समय दीपावली पूजन सामग्री की व्यवस्था एक बार अवश्य सुनिश्चित कर लें|
दीपावली पूजन मंत्र
दीपावली पूजन के दौरान हमें निम्न मंत्र के उच्चारण द्वारा लक्ष्मी जी का आह्वान कर सकते है
|| ॐ ह्रीं श्रीं लक्ष्मीभ्यो नमः॥ ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये मुझ पर दया करें दया करें ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं महालक्ष्मी
इसके अतिरिक्ति दीपावली के दिन आप यदि निचे दिए हुए मन्त्र का १०८ बार उच्चरण करते है तो यह आपके लिए शुभ होगा| यह मंत्र है –
|| ॐ श्रीं ह्रीं श्रीं कमल कमल कृपया श्रीं ह्रीं श्रीं ॐ महा लक्ष्मी नमः।
दीपावली पूजन करने से होने वाले लाभ
धार्मिक मान्यताओं के आधार पर ऐसा समझा जा सकता है की दीपावली पूजन से धन और वैभव प्रदान करने वाली लक्ष्मी जी के साथ साथ धन को स्थायित्व प्रदान करने वाले भगवान कुबेर की कृपा हमें प्राप्त होती है|
दीपावली पूजन सामग्री यदि पूर्ण शुद्ध व पवित्र हो तो इसमें प्रयुक्त होने वाले कपूर के उपयोग से विभिन्न प्रकार के रोगकारक जीवाणुओं का नाश होता है साथ ही वातावरण में शुद्धता का असर दिखाई देता है|
दीपावली पूजन के दौरान ध्यान रखी जाने वाली बातें
दिवाली पूजन के दौरान हमें निम्न बातो का पता होना चहिये जैसे की –
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- दीपावली पूजन के समय अपना ध्यान केवल भगवान की सच्चे मन की गयी पूजा उपासना में होना चाहिए तथा जब आप पूजा कर रहे हो तब हल्की से मुस्कान अपने मुख पर रखे|
- अगर पूजन की दौरान किसी प्रकार की पूजन सम्बन्धित कोई त्रुटि हो जाये तो क्रोधित बिलकुल न होये | ऐसा न करके आप त्रुटि होने पर भगवान से क्षमा – याचना कर सकते है| इससे भगवान आपको क्षमा कर देते है|
- दीपावली पूजन के दौरान लक्ष्मी पूजन के बाद एकाक्षी नारियल का पूजन करना आपके लिए शुभ होता है, पूजन के बाद इस नारियल की पिले वस्त्र में लपेटकर पूजा स्थल पर रख दें |
- दीपावली पूजन के बाद हर कमरे में शंख बजाना चहिये जिससे सकारात्मक ऊर्जा का प्रवाह घर की चारो दिशाओ में होता है|
- दीपावली पूजन सामग्री पूर्ण शुद्ध हो यह अति आवश्यक है|
दीपावली पूजन के दौरान मूर्तियों को कैसे बैठाये
दीपावली पूजन के दौरान मूर्तियों के सही तरीके से बैठाने सम्बन्धित अगर प्र्शन आपके मन में है तो हम 99Pandit आपके इस संशय को दूर कर देते है|
सबसे पहले आप लक्ष्मी जी की मूर्ति भगवान गणेश जी के दाहिने और देखती हुई स्थापित करें | साथ में यह भी ध्यान रखे की माँ लक्ष्मी जी का मुख थोड़ा सा गणेश की और देखता हुआ हो|
इसके बाद भगवान विष्णु जी की मूर्ति या चित्र को माँ लक्ष्मी के दायी ओर स्थापित करे| लक्ष्मी के बायीं और श्री गणेश की मूर्ति लगाये|
अर्थांत इसको क्रमशः करने पर हम देखते है की इसमें सबसे पहले विष्णु जी मध्य में विराजमान लक्ष्मी जी और उसके बाद गणेश जी की मूर्ति एक क्रम में लगी रहती है|
अनुमान
अगर आप दीपावली पूजन हेतु पंडित जी की तलाश में व्यस्थ है तो | आपको बता दे की 99पंडित पंडित बुकिंग की सर्वश्रेष्ठ सेवा है जहाँ आप घर बैठे मुहूर्त के हिसाब से अपना पंडित ऑनलाइन आसानी से बुक कर सकते हो|
यहाँ बुकिंग प्रक्रिया बहुत ही आसान है| बस आपको “बुक ए पंडित ” विकल्प का चुनाव करना होगा और अपनी सामने जानकारी जैसे की अपना नाम , मेल, पूजन स्थान , समय , और पूजा का चयन के माध्यम से आप आपना पंडित बुक कर सकेंगे|
इसके बाद यहाँ मौजूद अनुभवी पंडितो की टीम आपसे जल्द ही सम्पर्क कर लेगी| आप दीपावली पूजन सामग्री के अतिरिक्त विवाह पूजन सामग्री, दश महाविद्या पूजन सामग्री, अखंड रामायण पाठ पूजन सामग्री आदि की जानकारी 99पंडित के ब्लॉग अनुभाग (Section) के द्वारा ले सकते है|